दुर्ग / निजी अस्पतालों को अपने बिल काउंटर पर जिला प्रशासन का हेल्पलाइन नंबर 104 चस्पा करना होगा। किसी मरीज अथवा परिजन को यदि लगता है कि उसके पास डा. खूबचंद बघेल स्वास्थ्य सहायता योजना का कार्ड है और इसके अलावा भी उससे राशि जा रही है तो मरीज अथवा परिजन इसकी शिकायत कर सकेंगे। यह निर्देश प्रभारी मंत्री ने समीक्षा बैठक में दिये। मंत्री ने मोबाइल मेडिकल यूनिट के कार्यों की समीक्षा भी की।
उन्होंने इसके क्रियान्वयन पर खुशी जताई और कहा कि लोगों को कम अंतराल में इसका लाभ मिल जाए, इसके लिए दो या तीन वार्डों के कंजक्शन (मिलन बिन्दु) पर यूनिट लगाये जाएं। इसके लिए कार्यक्रम शेड्यूल कर भेजने के निर्देश उन्होंने दिये। बैठक में कृषि एवं जल संसाधन मंत्री रविंद्र चौबे भी मौजूद थे। श्री चौबे ने कहा कि सभी योजनाओं का अच्छा क्रियान्वयन जिले में हो रहा है। इसकी लगातार मॉनिटरिंग होती रहे।
बैठक में विधायक अरुण वोरा भी मौजूद रहे। उन्होंने कहा कि दुर्ग शहर में शासन द्वारा भव्य अधोसंरचनाएं तैयार की जा रही हैं। इनका निर्माण जितनी तेजी से होगा, उतना ही जल्द इसका लाभ लोगों को मिल पाएगा। बैठक में कलेक्टर पुष्पेंद्र कुमार मीणा ने विस्तार से जिले में हो रही विभागीय गतिविधियों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि लगातार इन योजनाओं के क्रियान्वयन की मॉनिटरिंग हो रही है और इसके अच्छे जमीनी नतीजे मिल रहे हैं।
बैठक में जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती शालिनी यादव, दुर्ग महापौर धीरज बाकलीवाल, भिलाई चरौदा महापौर निर्मल कोसरे सहित अन्य जनप्रतिनिधि मौजूद रहे। साथ ही एसपी डा. अभिषेक पल्लव, अपर कलेक्टर अरविंद एक्का, डीएफओ शशिकुमार, जिला पंचायत सीईओ अश्विनी देवांगन सहित अन्य जिलास्तरीय अधिकारी मौजूद रहे।
सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन के मुताबिक तालाब जमीन पर लें निर्णय- बैठक में प्रमुखता से शहरी क्षेत्रों में आबादी पट्टे का विषय जनप्रतिनिधियों ने रखा। भिलाई-चरौदा में आबादी पट्टे की भूमि, अहिवारा में बीएसपी की जमीन पर बसाहट सहित अन्य विषयों पर प्रभारी मंत्री ने अपनी बात रखी और इस संबंध में नियमानुसार अग्रिम कार्रवाई करने के निर्देश दिये। जनप्रतिनिधियों ने तालाब के किनारे बसे लोगों के लिए पट्टे के बारे में विषय रखा।
मंत्री ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइन के अनुसार पटवारी रिकार्ड में पानी के नीचे वाली भूमि और पार में पट्टा नहीं दिया जा सकता। साथ ही सुप्रीम कोर्ट की पूरी गाइडलाइन का अध्ययन कर लें। इस मामले में एसडीएम परीक्षण करा लें और जहां नियमों का उल्लंघन नहीं होता हो, वैसी भूमि में पट्टा देने पर विचार किया जा सकता है। औद्योगिक क्षेत्र में उद्योगों द्वारा 33 प्रतिशत भूमि में पौधे लगाना आवश्यक, परीक्षण कराएं और पालन नहीं होने पर करें कार्रवाई- बैठक में रसमड़ा क्षेत्र में पौधरोपण का विषय भी जनप्रतिनिधियों ने रखा।
प्रभारी मंत्री ने पर्यावरण विभाग के अधिकारियों को इस संबंध में स्थल परीक्षण करने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि यदि पौधरोपण नहीं हुआ है तो उद्योगों को इसे कराना होगा। अन्यथा की स्थिति में उद्योगों पर कार्रवाई की जाएगी। योजनाओं की प्रगति की ली जानकारी, प्रगति से हुए संतुष्ट- बैठक में मंत्री ने सभी विभागीय योजनाओं की समीक्षा की और इनके क्रियान्वयन पर संतोष जताया।
राजीव युवा मितान क्लब की गतिविधियों की उन्होंने जानकारी ली। कलेक्टर ने बताया कि ऐसे 610 क्लब गठित हो चुके हैं और सभी को धनराशि जारी कर दी गई है और इसका उपयोगिता प्रमाणपत्र भी जारी हो चुका है। कलेक्टर ने बताया कि रीपा योजना पर तेजी से काम हो रहा है। 80 हजार क्विंटल पैरादान हो चुका है। जिले में नरवा, गरुवा, घुरूवा, बाड़ी योजना पर तेजी से काम हो रहा है।