दुर्ग / कलेक्टर सुश्री ऋचा प्रकाश चौधरी के निर्देशानुसार खाद्य विभाग एवं मार्कफेड के अधिकारियों द्वारा संयुक्त रूप से खेदामारा स्थित राईस मिल गोयल एग्रो फूड की जांच की गई। खाद्य नियंत्रक से मिली जानकारी अनुसार राईस मिलर द्वारा खरीफ विपणन वर्ष 2023-24 में समर्थन मूल्य पर उपार्जित धान की कस्टम मिलिंग हेतु कलेक्टर (खाद्य शाखा) से अनुमति प्राप्त कर मार्केटिंग फेडरेशन से अनुबंध किया गया।

साथ ही 390 मेट्रिक टन धान का उठाव भी किया गया किन्तु कस्टम मिलिंग कर जमा योग्य चांवल 264 मेट्रिक टन भारतीय खाद्य निगम में अब तक जमा नहीं किया गया है। मिल के स्टाक के भौतिक सत्यापन करने पर 10066 कट्टे धान वजन 4026.40 क्विंटल पाया गया।

राईस मिलर द्वारा धान एवं चावल के स्टाक संबंधी अभिलेख न रखना एवं अनुबंध शर्तों के अनुसार कस्टम मिलिंग चावल जमा नहीं करने के कारण आवश्यक वस्तु अधिनियम 1955 की धारा 3 के अंतर्गत बने छ.ग. कस्टम मिलिंग चावल उपार्जन आदेश 2016 का उल्लंघन पाये जाने पर राईस मिल में संग्रहित धान का स्टाक जप्त किया गया हैै। उक्त प्रकरण में आगे की कार्यवाही की जा रही है। इसी प्रकार कस्टम मिलिंग संबंधी नियमों का उल्लंघन करने वाले अन्य मिलर्स पर भी आगे कार्यवाही जारी रहेगी।

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