भिलाई [ न्यूज़ टी 20] मुंबई. महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी के प्रमुख सचिव संतोष कुमार ने बताया कि राज्यपाल ने राज्य के मुख्य सचिव को पत्र लिखकर 22-24 जून तक राज्य सरकार द्वारा जारी सभी सरकारी प्रस्तावों (जीआर) और परिपत्रों की पूरी जानकारी प्रदान करने के लिए कहा है.
जानकारी देने का निर्देश सत्ताधारी सहयोगी राकांपा और कांग्रेस द्वारा नियंत्रित विभागों द्वारा 22-24 जून तक विभिन्न विकास संबंधी कार्यों के लिए सैकड़ों करोड़ रुपये की धनराशि जारी करने के सरकारी आदेश जारी करने के बाद आया है. पत्र के अनुसार, ‘राज्यपाल ने 22-24 जून को राज्य सरकार द्वारा जारी जीआर, परिपत्रों के बारे में ‘पूरी पृष्ठभूमि की जानकारी’ देने को कहा है…’
बता दें कि मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक शुक्रवार को प्रवीण दरेकर ने महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी से पिछले कुछ दिनों में महा विकास अघाड़ी सरकार द्वारा लिए गए अंधाधुंध फैसलों के खिलाफ हस्तक्षेप करने का आग्रह किया था. बता दें कि शिवसेना नेता एकनाथ शिंदे के विद्रोह ने महाविकास अघाड़ी के मोर्चे पर बड़ा संकट खड़ा कर दिया है और राज्य में सत्ता संघर्ष चल रहा है.
लोकमत न्यूज18 की रिपोर्ट के मुतबाकि एक तरफ शिवसेना
बागियों को वापस लाने की तैयारी कर रही है तो दूसरी तरफ महाविकास अघाड़ी (एमवीए सरकार) फैसले पर जोर दे रही है. पता चला है कि 3 दिन में 160 सरकारी प्रस्ताव (जीआर) जारी किए गए हैं. राज्यपाल ने अब सरकार से इसकी जानकारी मांगी है.
एकनाथ शिंदे और शिवसेना के ज्यादातर विधायकों के बागी होने के बाद महाविकास अघाड़ी सरकार पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं. इस बीच राज्य सरकार ने 22, 23 और 24 जून के दरम्यान 160 जीआर जारी किए हैं. रिपोर्ट्स के मुताबिक राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी के प्रमुख सचिव संतोष कुमार ने बताया कि
राज्यपाल ने महाराष्ट्र के मुख्य सचिव को पत्र लिखकर 22-24 जून तक राज्य सरकार द्वारा जारी सभी सरकारी प्रस्तावों की पूरी जानकारी देने को कहा है. बता दें कि यह निर्देश एमवीए सरकार द्वारा 22 से 24 जून तक अलग-अलग विकास संबंधी कार्यों के लिए करोड़ों रुपये की धनराशि जारी करने के सरकारी आदेश जारी करने के बाद आया है.
इस संबंध में भाजपा नेता प्रवीण दरेकर ने राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी को एक पत्र भेजा था. प्रवीण दरेकर के पत्र पर कार्रवाई करते हुए राज्यपाल ने राज्य सरकार से स्पष्टीकरण मांगा है. राज्यपाल ने मुख्य सचिव को पत्र लिखकर 22, 23 से 24 जून के बीच लिए गए फैसले का खुलासा करने की मांग की है.