भिलाई [न्यूज़ टी 20] Important Vitamins for Women: महिलाएं घर और ऑफिस की जिम्मेदारियों को संभालते-संभालते अपनी तरफ ध्यान देना भूल जाती हैं. उन्हें जितनी चिंता अपने परिवार की सेहत की रहती है, खुद की सेहत के प्रति लापरवाह हो जाती हैं. यदि आप अपने घर की जिम्मेदारियों को अकेले संभालती हैं,

तो ज़रूरी है अपनी सेहत के प्रति भी उतनी ही गंभीर रहें, क्योंकि आप ही अस्वस्थ रहेंगी, तो फिर घर-परिवार, ऑफिस के कामों को कैसे संभाल पाएंगी. बढ़ती उम्र में बेहद ज़रूरी है कि आप हर उन पौष्टिक चीजों को डाइट में शामिल करें,

जिससे आप फिट और हेल्दी बनी रहें, ना सिर्फ शारीरिक रूप से, बल्कि मानसिक रूप से भी. हेल्दी डाइट लेने के साथ ही आप कुछ विटामिंस का डेली डोज भी उम्र के मुताबिक ज़रूर लें,

ताकि हड्डियों से लेकर स्किन, बाल, आंखें सभी स्वस्थ और फिट रहें. यहां जानें, महिलाओं को किन विटामिंस को अपनी डाइट में जरूर शामिल करना चाहिए.

विटामिन बी6 और विटामिन डी

मेडिकलन्यूजटुडे में छपी एक खबर के अनुसार, 19 से 50 वर्ष की उम्र की महिलाओं, शिशु को स्तनपान कराने या फिर प्रेग्नेंट महिलाओं को न्यूट्रिशनल डेफिसिएंसी अक्सर होती है. इसमें विटामिन बी6 और विटामिन डी की कमी सबसे अधिक होती है.

ऐसे में इस उम्र की महिलाओं को प्रतिदिन 15 मिलीग्राम विटामिन डी का सेवन जरूर करना चाहिए. वहीं, विटामिन बी6 लगभग 1.3 मिलीग्राम, प्रेग्नेंसी में लगभग 1.9 एमजी और ब्रेस्टफीड कराने वाली महिलाओं को लगभग 2 मिलीग्राम प्रतिदिन विटामिन बी6 की जरूरत होती है.

आयोडीन की भी होती है ज़रूरत

गर्भावस्था के दौरान गर्भ में पल रहे शिशु के मस्तिष्क के विकास के लिए आयोडीन की ज़रूरत बहुत होती है. सेंटर्स फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन द्वारा वर्ष 2012 में कराए गए एक राष्ट्रीय सर्वे के अनुसार,

अध्ययन में शामिल किसी भी अन्य आयु वर्ग की तुलना में 20-39 वर्ष की आयु की महिलाओं में आयोडीन का स्तर कम था. इनमें से अधिकतर महिलाएं गर्भवती थीं.

इस उम्र की महिलाओं के लिए प्रतिदिन 150 मिग्रा आयोडीन, प्रेग्नेंट महिला के लिए 220 मिलीग्राम और स्तनपान कराने वाली महिला के लिए 290 एमजी आयोडीन का इनटेक बहुत आवश्यक होता है.

हालांकि, बिना डॉक्टर की सलाह के आयोडीन सप्लिमेंट्स लेने से बचना चाहिए वरना थायरॉएड हेल्थ पर इसका नकारात्मक असर पड़ सकता है.

फोलेट या विटामिन बी9 महिलाएं अवश्य लें

फोलेट को विटामिन बी9 भी कहा जाता है, जो रिप्रोडक्टिव वर्षों के दौरान बेहद ज़रूरी होता है. यह भ्रूण में होने वाली मस्तिष्क और रीढ़ संबंधित जटिलताओं के जोखिम को कम करता है.

लाल रक्त कोशिकाओं को बनाने में मदद करता है और प्रोटीन पाचन में सहायता करता है. यदि आप प्रेग्नेंट हैं, तो शरीर में विटामिन बी9 की कमी ना होने दें.

आयरन है बेहद ज़रूरी

अधिकतर महिलाओं को आयरन की भी कमी खूब होती है. आयरन एक प्रकार का खनिज है, जो रिप्रोडक्टिव आंगों और उनके बेहतर तरीके से काम करने के लिए ज़रूरी होता है. साथ ही शरीर में ऊर्जा का निर्माण,

घावों को भरने, इम्यून फंक्शन, रेड ब्लड सेल के बनने, विकास आदि के लिए भी आयरन की आवश्यकता होती है. 19 से 50 वर्ष की महिलाओं के लिए प्रतिदिन 18 मिलीग्राम आयरन लेने की ज़रूरत होती है.

विटामिन सी बूस्ट करे इम्यूनिटी

विटामिन सी शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत बनाकर आपको कई तरह के इंफेक्शन, रोगों से बचाने में कारगर होता है.

लंबी उम्र तक चाहती हैं आपकी त्वचा, बाल जवां, झुर्रियां रहित और स्वस्थ रहें, तो विटामिन सी युक्त चीजों को डाइट में प्रतिदिन शामिल करें. इससे आंखों की सेहत भी अच्छी बनी रहती है.

विटामिंस की कमी दूर करने के लिए फूड्स

फोलेट- इसकी कमी शरीर में ना हो, इसके लिए आप डाइट में चावल, एवोकाडो, ब्रोकली, संतरा, फोर्टिफाइड नाश्ते में खाया जाने वाला अनाज, साग आदि शामिल करें.

विटामिन डी- हड्डियों को मजबूत बनाए रखने के लिए विटामिन डी बहुत जरूरी है. इसके लिए आप फैटी फिश, अंडे की जर्दी, लिवर, मशरूम आदि खाएं.

आयोडीन- महिलाओं को आयोडीन की पूर्ति करने के लिए अंडा, अनाज से बने प्रोडक्ट्स, आयोडाइज्ड नमक, सीफूड, बिना चीनी वाले डेयरी उत्पाद आदि का सेवन करना चाहिए.

आयरन- अक्सर महिलाओं को आयरन की कमी होती है. आयरन की कमी दूर करने के लिए रेड मीट, सीफूड, दालें, सोयाबीन्स, साग, अंडा आदि खाएं.

कैल्शियम- डेयरी प्रोडक्ट्स, फोर्टिफाइड दूध, जूस, सैल्मन मछली, टोफू, केल आदि खाकर कैल्शियम की कमी दूर कर सकती हैं.

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