भिलाई [न्यूज़ टी 20] प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज बुद्ध पूर्णिमा के अवसर पर नेपाल में भगवान बुद्ध की जन्मस्थली लुम्बिनी जाएंगे. माया देवी मंदिर में विशेष पूजा करेंगे. बुद्धिस्ट कल्चरल सेंटर का भूमि पूजन करेंगे.
इसके अलावा नेपाल के प्रधानमंत्री शेर बहादुर देउवा के साथ उनकी द्विपक्षीय मुलाकात भी होगी. इस दौरान साझा संस्कृति, विरासत, संपर्क, ऊर्जा और शिक्षा के क्षेत्रों में द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने पर बात आगे बढ़ सकती है.
2019 में फिर से प्रधानमंत्री बनने के बाद पीएम मोदी की ये पहली नेपाल यात्रा है. 2014 में पद संभालने के बाद वह चार बार पहले नेपाल का दौरा कर चुके हैं. हाल ही में पीएम मोदी की तीन देशों की यूरोपीय यात्रा के बाद मई में उनकी यह दूसरी विदेश यात्रा है.
पीएम मोदी सोमवार को दिल्ली से कुशीनगर एयरपोर्ट पहुंचेंगे. उसके बाद हेलिकॉप्टर के जरिए सुबह करीब 10.40 बजे लुंबिनी में उतरेंगे. वहां माया देवी मंदिर में नेपाल के पीएम और उनकी पत्नी के साथ पूजा अर्चना का कार्यक्रम है.
इसके बाद भारत की मदद से बन रहे बुद्धिस्ट कल्चरल सेंटर के भूमि पूजन में शामिल होंगे. फिर उनकी और नेपाली पीएम की द्विपक्षीय बैठक होगी. पीएम मोदी की यात्रा का मुख्य उद्देश्य दोनों पड़ोसियों के बीच साझा हिंदू और बौद्ध विरासत को बढ़ावा देते हुए सांस्कृतिक संबंधों को मजबूत करना है.
हालांकि सांस्कृतिक जुड़ाव के अलावा दोनों देशों के बीच कई अहम मसलों पर भी बातचीत होगी. कई समझौते भी हो सकते हैं. सूत्रों के हवाले से बताया है कि पीएम मोदी और नेपाली समकक्ष की बैठक में दोनों देशों के बीच बेहतर सड़क और हवाई संपर्क का मसला उठ सकता है.
शिक्षा के क्षेत्र में संबंधों को मजबूती देते हुए भारत के एक प्रमुख तकनीकी विश्वविद्यालय का काठमांडू में कैंपस खोलने का ऐलान हो सकता है. इससे नेपाली छात्रों को उभरते हुए और क्वांटम कंप्यूटिंग जैसे एडवांस फील्ड में शिक्षा लेने का मौका मिल सकेगा.
दोनों देशों के बीच ऊर्जा क्षेत्र में सहयोग पर भी बातचीत हो सकती है. पिछले महीने नेपाली पीएम देउबा की भारत यात्रा के दौरान भी इसका जिक्र हुआ था. भारत न केवल नेपाल में पनबिजली इकाइयों में निवेश और निर्माण का इच्छुक है, बल्कि बिजली की देश से बाहर बिक्री के लिए पारेषण लाइन भी बनाना चाहता है.
एचटी की रिपोर्ट के मुताबिक, भारत नेपाल को आगे बढ़ने में मदद के लिए पूरी तरह तैयार हैं. लेकिन वह चाहता है कि नेपाल अपने देश में चीन की बिजली और सड़क जैसे बुनियादी क्षेत्रों में बढ़ती घुसपैठ पर भारत की चिंता को समझे.
उदाहरण के लिए, चीन की एक कंपनी ने लुंबिनी के पास भैरहवा में अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा बनाया है. यह सोनौली में भारतीय सीमा से महज 10 किमी की दूरी पर है. नेपाली पीएम आज इसका उद्घाटन करने के बाद ही लुंबिनी पहुंचेंगे. नेपाल में काठमांडू के बाद यह दूसरा अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा है.