
रायपुर: केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह 3 अक्टूबर की रात छत्तीसगढ़ के बस्तर जिले के दौरे पर रहेंगे। अपने इस दौरे में वे ऐतिहासिक बस्तर दशहरा के अंतर्गत आयोजित होने वाले मुरिया दरबार कार्यक्रम में शामिल होंगे।
जनजातीय समुदाय के विशेष आमंत्रण पर आगमन
यह दौरा जनजातीय समुदाय के विशेष आमंत्रण पर हो रहा है। श्री शाह बस्तर की पारंपरिक आदिवासी रीति-रिवाजों और धार्मिक आयोजनों में भाग लेंगे। इस दौरान वे मांझी, गायता और पुजारियों जैसे परंपरागत पदाधिकारियों के साथ सामूहिक भोजन भी करेंगे। इसे सांस्कृतिक एकजुटता का प्रतीक माना जाता है।

दिल्ली में हुआ था आमंत्रण
छत्तीसगढ़ के उपमुख्यमंत्री विजय शर्मा ने जानकारी दी कि बस्तर दशहरा समिति के अध्यक्ष, बस्तर के सांसद और जनजातीय परंपरा से जुड़े प्रतिनिधियों ने दिल्ली में अमित शाह से मुलाकात कर उन्हें बस्तर दशहरा में शामिल होने का न्योता दिया था। अमित शाह ने इस निमंत्रण को स्वीकार करते हुए बस्तर दौरे का निर्णय लिया है।
बस्तर दशहरा का महत्व
बस्तर दशहरा केवल धार्मिक पर्व नहीं, बल्कि जनजातीय संस्कृति और परंपराओं का विश्व का सबसे लंबा उत्सव माना जाता है। इसमें होने वाला मुरिया दरबार सामूहिक एकता, परंपरा और सामाजिक जुड़ाव का प्रतीक है।
