दुर्ग / आगामी विधानसभा निर्वाचन 2023 के मद्देनजर मतदान केंद्रों का भौतिक सत्यापन व वहां मूलभूत सुविधाएं सुनिश्चित करने के लिए कलेक्टोरेट सभाकक्ष में उपस्थित संबंधित अधिकारियों के साथ आज समय सीमा बैठक की शुरूआत हुई। कलेक्टर पुष्पेन्द्र कुमार मीणा ने बैठक में इआरओनेट में लंबित आवेदनों के निराकरण, मतदान केन्द्रों का भौतिक सत्यापन, मतदान केन्द्रों में न्यूनतम सुनिश्चित सुविधाओं की जानकारी, मतदान केन्द्र के नाम, भवन या स्थल परिर्वतन, पोलिंग स्टेशन के लोकेशन और क्रिटिकल व संवेदनशील मतदाता केंद्र के संबंध में चर्चा की।
कलेक्टर ने मतदान केन्द्र के भौतिक सत्यापन और पोलिंग स्टेशन लोकेशन के लिए संबंधित अधिकारियों को स्थल पर जाकर निरीक्षण करने के लिए आदेशित किया। उन्होंने अधिकारियों को चुनाव आयोग द्वारा दिए गए गाईड-लाईन को स्पष्ट रूप से अनुसरण करने की और मतदान केन्द्र के स्थल परिर्वतन की स्थिति में नवीन चयनित स्थल मतदाता पहुंच सुविधा अनुरूप 2 किलोमीटर के दायरे में रखने की बात कही। उन्होंने मतदाता केन्द्र में मूलभूत सुविधा जैसे बिजली, पेयजल, शौचालय, रैम्प इत्यादि को भी दुरूस्त करने के लिए कहा।
बैठक में कलेक्टर ने नगरीय निकाय क्षेत्र में बनने वाले वेंडिंग जोन के संबंध में नगर निगम आयुक्तों से जानकारी मांगी। जिसमें कलेक्टर ने शहर के अतिक्रमण भार को नगण्य करने के लिए संबंधित अधिकारियों से शहर में अव्यवस्थित ठेले, रेहड़ी, खोमचे व गुमटी वालों के आंकड़ों पर चर्चा की। उन्होंने प्रस्तुत किए गए आंकड़ों पर अपना मत स्पष्ट किया कि ये ठेले, रेहड़ी, खोमचे और गुमटी वाले जहां-जहां वेंडिंग जोन का कार्य पूर्ण होता जाएगा वहां-वहां अपने आपको प्रतिस्थापित करते जाएंगे।
इसके लिए उन्होंने नगरीय निकाय के संबंधित अधिकारियों को अपने स्टाफ के माध्यम से ठेले वालों के आंकड़े को क्रॉस चेक करवाने के लिए कहा। ताकि शहर में अव्यवस्था पर लगाम लगाया जा सके और शहरी तस्वीर को बदलकर व्यवस्थित किया जा सके। कलेक्टर ने 1 अप्रैल से शुरू हुए सामाजिक-आर्थिक सर्वेक्षण को लेकर भी संबंधित अधिकारियों से चर्चा की। जिसमें कार्य की प्रगति को तय समय में पूरा करने के लिए उन्होंने गठित की गई टीम की संख्या में और व्यक्ति जोड़ने की बात कही।
इसके साथ ही उन्होंने जिन गांवों में निर्मित क्लस्टर की टीमें अपने अंतिम पड़ाव में है अर्थात् जिन्होंने 90 प्रतिशत से ऊपर सर्वेक्षण कार्य पूरा कर लिया गया है। उनके शत-प्रतिशत सर्वेक्षण होने की स्थिति में उन्हें अन्य दलों के साथ जोड़ने के लिए नोडल अधिकारी को कहा ताकि समय सीमा के पूर्व ही लक्ष्य की प्राप्ति की जा सके। जनपद पंचायत दुर्ग, पाटन और धमधा में सर्वे का 75 प्रतिशत कार्य वर्तमान में पूर्ण हो चुका है।
इसके अलावा बैठक में राजस्व मामलों में चर्चा की गई जिसमें मुख्य रूप से स्वामित्व योजना को लेकर चर्चा की गई। जिसमें सर्वे और मैपिंग को लेकर कलेक्टर ने जानकारी मांगी। इसके अलावा कलेक्टर ने कहा कि अवैध खनन से संबंधित मामलों में लगाम लगे इसके लिए रेत व मुरूम के खनन से संबंधित जानकारी की सूचना कोटवार द्वारा संबंधित राजस्व अधिकारी व नजदीकी थाने में दर्ज कराई जाएगी। उन्होंने अवैध प्लाटिंग के संबंध में भी राजस्व के अधिकारियों को कड़ा रूख अपनाने की बात कही।
बैठक में अपर कलेक्टर अरविंद एक्का, अपर कलेक्टर श्रीमती पद्मनी भोई, आयुक्त नगर निगम भिलाई रोहित व्यास, जिला पंचायत सीइओ अश्वनी देवांगन, संयुक्त कलेक्टर प्रवीण वर्मा, संयुक्त कलेक्टर श्रीमती योगिता देवांगन, संयुक्त कलेक्टर विनय सोनी, एसडीएम दुर्ग मुकेश रावटे, एसडीएम धमधा बृजेश सिंह क्षत्रिय, नगर निगम आयुक्त दुर्ग लोकेश चंद्राकर, आयुक्त नगर निगम रिसाली आशीष देवांगन आयुक्त नगर निगम भिलाई चरौदा अजय त्रिपाठी एवं अन्य अधिकारी गण उपस्थित थे।