
कलेक्टर ने निर्देश दिए, मरीजों के हित में सख्त कार्रवाई
मुंगेली। जिला प्रशासन ने मरीजों को बेहतर चिकित्सा सुविधा सुनिश्चित करने के लिए जिला अस्पताल में लापरवाही करने वाले वरिष्ठ अधिकारियों के खिलाफ सख्त कदम उठाया है। कलेक्टर कुंदन कुमार ने सिविल सर्जन और अस्पताल कंसल्टेंट को कारण बताओ नोटिस जारी करने के निर्देश दिए हैं।
कलेक्टर की बैठक में अस्पताल की व्यवस्थाओं की समीक्षा
कलेक्टर ने कलेक्टोरेट स्थित मनियारी सभाकक्ष में अधिकारियों की बैठक लेकर जिला चिकित्सालय में इलाज, कर्मचारियों की तैनाती और अस्पताल व्यवस्थाओं का जायजा लिया। उन्होंने कहा कि मरीजों को समय पर और गुणवत्ता वाली चिकित्सा सेवाएं मिलना अनिवार्य है।

लापरवाही बर्दाश्त नहीं, नोटिस जारी
बैठक में कलेक्टर ने स्पष्ट किया कि चिकित्सकीय कार्य में किसी भी प्रकार की लापरवाही और उदासीनता बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
-
मरीजों के कॉल का जवाब न देना
-
चिकित्सकीय व्यवस्था ठीक न रखना
-
मरीजों के इलाज में अनदेखी
इन गंभीर मुद्दों के चलते सिविल सर्जन सह मुख्य अस्पताल अधीक्षक डॉ. एमके राय और हॉस्पिटल कंसल्टेंट सुरभि केशरवानी को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है।
कर्मचारियों और चिकित्सकों की जिम्मेदारी
कलेक्टर ने अधिकारियों को चेताया कि अस्पताल में काम करने वाले चिकित्सक और कर्मचारी गरीब और ग्रामीण मरीजों के लिए जिम्मेदार हैं। लोग बेहतर इलाज की उम्मीद लेकर दूर-दूर से आते हैं, इसलिए किसी भी प्रकार की लापरवाही मरीजों के हित के खिलाफ है।
उन्होंने यह भी निर्देश दिया कि:
-
अस्पताल की व्यवस्थाओं का नियमित निरीक्षण हो
-
मरीजों की समस्याओं का तुरंत समाधान हो
-
कर्मचारियों के लिए प्रशिक्षण और जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जाएं
प्रशासन का स्पष्ट संदेश
कलेक्टर ने बैठक में कहा कि जिला अस्पताल केवल इलाज का केंद्र नहीं, बल्कि ग्रामीण और गरीब जनता के लिए जीवन रक्षक स्थल है।
इस कदम के माध्यम से जिला प्रशासन ने यह स्पष्ट किया कि मरीजों के हित और अस्पताल की प्रभावी सेवाओं के लिए किसी भी स्तर पर लापरवाही स्वीकार्य नहीं होगी।
