कोरबा। छतीसगढ़ में 3 दिनों में दो आरक्षकों की संदिग्ध परिस्थितियों में लाश मिली है। पहला मामला दुर्ग का है। जहां एसपी कार्यालय में पदस्थ आरक्षक की मंगलवार की शाम पुलिस लाइन के पीछे स्थित तालाब में लाश मिली है। यह हत्या है या हादसा इसकी जांच में पुलिस जुटी हुई है। इसी बीच आज सुबह कोरबा में आरक्षक की लाश संदिग्ध परिस्थितियों में दोस्त के घर पड़ी मिली। पुलिस पोस्टमार्टम के लिए शव को भेज जांच में जुटी है।
कोरबा के सिविल लाइन थाना क्षेत्र में आईटीआई चौक से बालको जाने वाले मार्ग पर अंधरी दाई मंदिर के पास एक मकान में एक व्यक्ति की संदिग्ध परिस्थितियों में लाश होने की सूचना सिविल लाइन पुलिस को मिली। जिस पर सिविल लाइन टीआई नितिन उपाध्याय पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंचे। शिनाख्त पर लाश आरक्षक क्रांति सिंह की मिली। आरक्षक बिलासपुर का रहने वाला था। 2 माह पहले उसकी जिला अदालत में कोर्ट मोहर्रिर के रूप में ड्यूटी लगाई गई थी। पर वह ड्यूटी से नदारद चल रहा था। बताया जाता है कि आरक्षक कल अपने दोस्त के घर सोने के लिए आया था।
जहां आज सुबह उस की संदिग्ध परिस्थितियों में लाश मिली है। पुलिस ने शव को पंचनामा के लिए भिजवा उसके रिश्तेदारों को सूचना दी है। साथ ही घर को सील कर दिया है। मिली जानकारी के अनुसार आरक्षक नशे का आदी था वह हमेशा शराब पीता था। बताया जाता है कि बिलासपुर में रहने वाला आरक्षक क्रांतिसिंह की अभी शादी नहीं हुई थी। और वह अक्सर अपने अलग-अलग दोस्तों के घर रुक जाता था। पुलिस ने घर के सामने खड़ी आरक्षक की बाइक भी जब्त की है।
आरक्षक के शरीर में चोट के कोई भी निशान नहीं है। मामले में सीएसपी विश्व दीपक त्रिपाठी ने बताया कि आरक्षक के शव को उसके परिजनों की मौजूदगी में पंचनामा करवा पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। जिसकी रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के कारणों का खुलासा होगा साथ ही घटना की जांच के लिए फॉरेंसिक जांच का भी सहारा लिया जा रहा है।