रायगढ़ से श्यामभोजवानी

भिलाई [भिलाई न्यूज़ टी 20] घरघोड़ा / अनुभाग के तमनार ब्लाक के 14 गांवों की करीब ढाई हजार हेक्टेयर भूमि का अधिग्रहण किया जाना है । अधिग्रहण आदेश के बाद मामला अटका हुआ था इसी बीच तत्कालीन एसडीएम अशोक कुमार मारबल द्वारा अनुमति पत्र जारी कर जमीन खरीद बिक्री का आदेश दिया जा रहा था,

तहसील कार्यालय में पदस्थ कर्मचारियों ने इसका इसका खुब लाभ उठा कर मनमानी रूप से पैसों की लेन देन कर कमिशन लेकर अनुमति पत्र दिलाने के नाम से लाखों रूपए की उगाही किया गया जिसकी जांच की मांग एसडीएम घरघोड़ा से लिखित में किया गया है।

खुली छुट के साथ चार गुना अधिक मुवाआज के लालच में लोग जमीने खरीद कर उसके ऊपर निर्माण कार्य का खेल चालू हो गया है। बाहरियों ने मुआवजे की लालच में टुकड़ों में जमीन खरीदी और उस पर निर्माण भी कर लिए। कलेक्टर रानू साहू ने इसकी शिक़ायत मिलने पर गंभीरता से इसकी जांच के आदेश दिए हैं,

किसी भी तरह के दबाव में आये इस मामले की कड़ाई से जांच करने का आदेश दिया है। इस हाई प्रोफाइल मामले में आमजन भी पैनी नजर बनाए हूए है, जिसके बाद एसडीएम घरघोड़ा डिगेश पटेल ने संबंधित पटवारियों को नोटिस भेजकर इस मामले जुड़े प्रत्येक कागजात को प्रस्तुत करने के आदेश दिया है।

तत्कालीन एसडीएम तहसीलदार उप पंजीयक एवं अर्जीनवीस की भूमिका संदेहास्पद है? इस विषय की उच्च स्तरीय जांच होनी चाहिए।

रायगढ़ जिले में हर भू-अर्जन में गोलमाल होता है। सालों से एक ही हल्के में जमे पटवारियों की वजह से गड़बड़ी की शुरुआत होती है। उसके बाद कई लोग जुड़ते चले जाते हैं। समय पर इसे रोकने का प्रयास करने के बजाय अधिकारी भी इस पर पर्दा डालने लगते हैं।

यही वजह है कि एनटीपीसी लारा घोटाला, तलाईपाली रेल लाइन घोटाला, साराडीह बैराज घोटाला हुआ। ताजा मामला महाजेंको का है। कंपनी को आवंटित कोल ब्लॉक के लिए प्रारंभिक सर्वे शुरू हो चुका है। इसके बाद भी पूर्व एसडीएम की अनुमति को लेकर जमीनों की बिक्री की गई।

अनुमति में खसरा नंबर की पूरी जमीन की अनुमति ली गई लेकिन बेचते समय इसके दस टुकड़े किए गए। कांग्रेस-भाजपा नेताओं और कई सरकारी अधिकारियों ने भी शासन की जानकारी के बिना जमीनें खरीदी हैं। सौ करोड़ से अधिक की ब्लैक मनी यहां खपाई गई है।

फिलहाल कलेक्टर रानू साहू ने इसकी जांच के आदेश दिए हैं। एसडीएम घरघोड़ा डिगेश पटेल ने 14 गांवों के पटवारियों को नोटिस भेजा है। सभी से खरीदी-बिक्री के संबंध में स्पष्टीकरण मंगया गया है।

घरघोड़ा अनुभाग के तमनार तहसील के हैं 14 गांव

महाजेंको के अधिग्रहित क्षेत्र में आ रहे सभी 14 गांव तमनार तहसील में आते हैं। कई गांवों के पटवारी तो लंबे समय से एक ही जगह पर काबिज हैं। राजस्व निरीक्षकों का भी यही हाल है। इन्होंने एक तरह से अपनी समानांतर सरकार बना ली है।

हाल ही जमीन खरीद बिक्री में कालेधन का बहुत बड़ी राशि को खपया गया है इस तरह की सुचनाएं मिल रही है।जमीन का टुकड़ों में बिक्री नकल जारी किया जाना, बड़े सौदे की ओर इशारा कर रहा है। ईडी, सीबीआई एवं एंटी करप्शन ब्यूरो को यहां आय से अधिक संपत्ति के कई मामले मिलेंगे।

अरबों के खेल में बड़े बड़े राजनेता अधिकारी व उद्योगों में कार्यरत अधिकारियों की पैसा लगा हुआ, खरीद बिक्री करने वालों की संपत्तियों की सही से जांच हो तो उनके पीछे खरीदारों की जानकारी स्पष्ट हो जायेगी, फिलहाल एसडीएम ने नोटिस जारी कर जारी बिक्री नकल की जानकारी भी मांगी है।

इसके बाद संबंधित व्यक्तियों की आय की भी जांच होगी इस सुचना से खरीद बिक्री करने वालों की नींद उड़ी हुई है, क्योंकि वर्तमान एसडीएम डिगेश पटेल जितने सौम्य शांत नजर आते हैं उतने ही कड़ाई से संविधान का पालन करने वाले अधिकारी रूप में पहचाने जाते हैं, इनके कलम के आगे किसी तरह का दबाव काम नहीं करता है।

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